सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय (MoRTH) ने वाहनों से जुड़े नए नियम लागू किए हैं। यह नियम फ्रॉड और अपराधों के बढ़ते मामलों को देखते हुए तैयार किए गए हैं।
नए नियम के अनुसार, अब अस्थायी पेपर-प्रिंटेड रजिस्ट्रेशन नंबर के साथ गाड़ी चलाना अमान्य होगा और इसके लिए जुर्माना भरना होगा। MoRTH ने 11 श्रेणियों के वाहनों के रजिस्ट्रेशन के लिए कलर कोड वाले नियम जारी किए हैं।
फ़िलहाल के लिए गाड़ियों के अस्थायी रजिस्ट्रेशन प्लेट में पीले रंग के बैकग्राउंड पर लाल रंग से गाड़ी का नंबर लिखा हुआ होना चाहिए। वहीं डीलर वाहनों में लाल रंग के बैकग्राउंड पर सफ़ेद रंग से गाड़ी का नंबर लिखा हुआ होना चाहिए। इसके अलावा इलेक्ट्रिक वाहनों के लिए नियम में कोई बदलाव नहीं किया गया है और इसमें पहले की तरह ही हरे रंग के बैकग्राउंड पर पीले रंग से लिखे गाड़ी के नंबर प्लेट को इस्तेमाल किया जा सकेगा।
अंग्रेजी के अक्षरों और अरैबिक में लिखे गए अंकों के अलावा रजिस्ट्रेशन प्लेट पर कोई दूसरे प्रकार के लोगो का इस्तेमाल नहीं होना चाहिए। किसी दूसरे क्षेत्रिय भाषा में नंबर प्लेट लिखा नहीं होना चाहिए। साथ ही राज्य और केंद्रशासित प्रदेश द्वारा जारी किए गए वीआईपी नंबरों पर भी यह नए नियम लागू होंगे।
इसके अलावा सेंट्रल मोटर वीइकल्स रूल्स (सीएमवीआर) ने भी गाड़ियों से जुड़े नियम जारी करते हुए बताया है, कि दो और तीन पहियों के वाहन को छोड़कर बाक़ी सभी वाहनों के साइज़ 65mm, मोटाई 10mm और नंबर प्लेट पर लिखे गए अक्षरों के बीच 10mm की दूरी होनी चाहिए।
MoRTH का मानना है, कि हाई सिक्योरिटी रजिस्ट्रेशन प्लेट्स (एचएसआरपी) के आने से देश के अंदर ग़ैरक़ानूनी, फ्रॉड और अपराधों को रोकने में काफ़ी हद तक मदद मिलेगी।